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Sarva Pitru Amavasya- सर्व पितृ अमावस्या पर ज्ञात-अज्ञात पितरों को दिलाएं इस भावसागर से मुक्ति, जानें तिथि और शुभ मुहूर्त

September 13, 2025

पितृ पक्ष का समापन सर्व पितृ अमावस्या पर होता है, जिसे पितरों की विदाई का दिन माना जाता है। इस दिन अपने ज्ञात-अज्ञात पितरों के मोक्ष, उनकी आत्मा की शांति और भगवान की कृपा के लिए श्राद्ध, तर्पण और दान करना अत्यंत पुण्यकारी बताया गया है।

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पितृ पक्ष में भागवत मूलपाठ से क्यों मिलती है पितरों को शांति?

September 12, 2025

पितृ पक्ष में श्रीमद्भागवत मूलपाठ का पाठ पितरों को शांति और मोक्ष दिलाने का एक पवित्र साधन है। इस ग्रंथ की भक्ति भरी कथाएं और उपदेश आत्मा को शुद्ध करते हैं, जिससे पितरों को तृप्ति मिलती है और परिवार में सुख-समृद्धि आती है। जानें इस आध्यात्मिक अनुष्ठान की महत्ता!

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पितृ पक्ष में कैसे करें अपने दिवंगत पितरों का तर्पण?

September 11, 2025

हिंदू धर्म में पितृ पक्ष का विशेष महत्व है। यह कालखंड भाद्रपद पूर्णिमा से लेकर आश्विन अमावस्या तक रहता है। शास्त्रों में वर्णन है कि इस पुण्य समय में पितृ देव पृथ्वी पर अपने वंशजों के समीप आते हैं और उनसे तृप्ति की अपेक्षा रखते हैं।

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यहां मिलता है मोक्ष, भगवान विष्णु और गयासुर की कहानी

September 10, 2025

गया जी, मोक्षदायिनी भूमि, जहां भगवान विष्णु और गयासुर की कथा आस्था को प्रेरित करती है। विष्णुपद मंदिर और पितृपक्ष मेला पितरों को मोक्ष प्रदान करते हैं।

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इंदिरा एकादशी 2025 तिथि: जानें शुभ मुहूर्त और दान का महत्व

September 10, 2025

यह शुभ दिन भगवान विष्णु की उपासना और भक्ति के लिए सर्वश्रेष्ठ होता है। हर एकादशी का अपना अलग महत्व और फल होता है। इन्हीं में से एक महत्वपूर्ण एकादशी है ‘इंदिरा एकादशी’, जो पितृ पक्ष के दौरान आती है।

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पितृ पक्ष 2025: माता सीता ने क्यों किया था राजा दशरथ का पिंडदान? उनके शाप-वरदान की कथा

September 9, 2025

रामायण कथा में वनवास के दौरान माता सीता ने फाल्गु नदी तट पर ससुर राजा दशरथ का पिंडदान क्यों किया? दशरथ की आत्मा की विनती पर स्त्री-श्राद्ध का प्राचीन रहस्य।
जानें ये गूढ़ कथा और महिलाओं के पितृकर्म अधिकार की प्रेरणादायक कहानी!

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Shradh Paksha 2025: जानिए श्राद्ध की तिथि, ग्रहण का समय और दान का महत्व

August 30, 2025

इस भवसागर से मुक्त हो चुके पूर्वजों की आत्मा की शांति के लिए श्राद्ध पक्ष में जो विधिपूर्वक श्रद्धायुक्त होकर तर्पण, दान आदि किया जाता है उसे श्राद्ध कहा जाता है। इसे महालय और पितृ पक्ष के नाम से भी जाना जाता है।

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Bhadrapada Purnima 2025: भाद्रपद पूर्णिमा की तिथि, शुभ मुहूर्त, और पूजा विधि

August 28, 2025

यह दिन धार्मिक, सांस्कृतिक और आध्यात्मिक दृष्टिकोण से अत्यधिक महत्वपूर्ण माना जाता है। इस दिन से ही श्राद्ध पक्ष का शुभारंभ होता है इसलिए सनातन धर्मावलंबियों के लिए यह पूर्णिमा बेहद महत्वपूर्ण हो जाती है।

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परिवर्तिनी एकादशी में करें भगवान विष्णु के इस अवतार की पूजा; जानें तिथि, और शुभ मुहूर्त

August 24, 2025

परिवर्तिनी एकादशी हिंदू धर्म में एक महत्वपूर्ण एकादशी मानी जाती है। यह एकादशी हर साल भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की ग्यारहवीं तिथि को मनाई जाती है। इस दिन भगवान विष्णु के वामन अवतार की पूजा की जाती है।

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इन फूलों के बिना अधूरी है श्राद्ध पूजा, पितृ तर्पण में जरूर करें शामिल

August 20, 2025

साल 2025 में श्राद्ध पक्ष की शुरुआत हो चुकी है। यह इस बार 7 सितंबर से शुरू होकर 21 सितंबर तक चलेगा। इसे महालय पक्ष के रूप में भी जाना जाता है। श्राद्ध पितरों के प्रति सच्ची श्रद्धा और कृतज्ञता अभिव्यक्त करने का एक माध्यम है।

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भाद्रपद अमावस्या (शनि अमावस्या): जानें तिथि, शुभ मुहूर्त एवं दान का महत्व

August 16, 2025

भाद्रपद अमावस्या 2025, जो 23 अगस्त को मनाई जाती है, श्राद्ध और तर्पण अनुष्ठान करने और कुशा घास एकत्र करने का एक पवित्र दिन है। हिंदू शास्त्रों में बताए गए अनुसार, गरीबों को अनाज और भोजन दान करके इसके आध्यात्मिक महत्व को अपनाएँ।

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श्री कृष्ण जन्माष्टमी 2025 : नंद के आनंद भवन में जन्मे मुरलीधर, जानें तिथि और शुभ मुहूर्त

August 11, 2025

श्री कृष्ण जन्माष्टमी (Shri Krishna Janmashtami) हिंदू धर्म का एक महत्वपूर्ण पर्व है जो भगवान श्री कृष्ण (Lord Krishna) के जन्म के उत्सव के रूप में भारत के साथ पूरी दुनिया में मनाया जाता है।

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