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500 रुपये से अधिक के सभी दान आयकर अधिनियम की धारा 80जी के अनुसार कर-मुक्त हैं।

क्या है मकर संक्रांति ?

शास्त्रों के अनुसार सूर्य को ग्रहों का राजा माना जाता है और ब्रह्मांड की सभी गतिविधियों पर सूर्य का प्रभाव पड़ता है इसलिए सूर्य को विशेष महत्व दिया जाता है। सूर्य जब एक राशि से दूसरी राशि में स्थानांतरण करते है तो उसे संक्रांति कहा जाता है। इस तरह एक वर्ष में कुल 12 संक्रांति होती है जिसमें मकर संक्रांति को ही ज्यादा महत्वपूर्ण माना जाता है। हर वर्ष पौष मास में जब सूर्य मकर राशि में प्रवेश करते है तो सूर्य के उत्तरायण होने की खुशी में मकर संक्रांति को एक महापर्व के रूप में मनाया जाता है।

हिन्दू पंचांग के अनुसार मकर संक्रांति का त्यौहार हर वर्ष परंपरागत रूप से 14 जनवरी को मनाया जाता है। हालांकि कई कारणों से तिथियों में उलटफेर के चलते इसमें कुछ परिवर्तन भी हुआ है। हिन्दू धर्म में मकर संक्रांति के त्यौहार को काफी महत्वपूर्ण माना जाता है। देश के अलग-अलग हिस्सों में इस त्यौहार को अलग-अलग नामों से जाना जाता है। कहीं खिचड़ी कहीं उत्तरायण तो कहीं इसे लोहड़ी या पोंगल के रूप में मनाया जाता है। इस खास मौके पर सूर्य की उपासना के साथ-साथ जप, तप, श्राद्ध, तर्पण, और स्नान की मान्यता है। मगर खास बात यह है कि इस मौके पर दान का विशेष महत्व है। कहते हैं कि इस दिन गुड और तिल का दान सबसे उत्तम माना जाता है। साथ ही वस्त्र और कंबल दान भी अत्यंत पुण्यकारी होता है।

नारायण सेवा संस्थान दान से करेगी उत्थान।

नि: शुल्क सुधारात्मक उपचार, कृत्रिम अंग वितरण और लाखो भूखे लोगो तक भोजन पहुँचा मकर संक्रांति पर होगा साल का सबसे बड़ा दान।

नि: शुल्क भोजन वितरण

मकर संक्रांति पर भोजन वितरण करना अति लाभकारी है इस महापर्व पर भूखे लोगो और अनाथ बच्चो को भोजन करवाने के लिए दान करें और पुण्य प्राप्त करें।

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नि: शुल्क सुधारात्मक ऑपरेशन

मकर संक्रांति के पावन अवसर पर ज़रूरतमंद दिव्यांगों के नि: शुल्क इलाज एवं सुधारात्मक ऑपरेशन के लिए दान कर उन्हें एक बेहतर जीवन प्रदान करें।

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नि: शुल्क कृत्रिम अंग वितरण

दान के इस विशेष त्यौहार पर संस्थान से जुड़कर दिव्यांगों के लिए दान के रूप में कृत्रिम अंग का दान करे और उन्हें सशक्त बनावे।

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संस्थानके सेवा कार्य

3,94,51,243
रोगियों को भोजन थाली वितरण की संख्या
4,38,956
दिव्यांगो के ऑपरेशन की संख्या
34,055
कृत्रिम अंग वितरण की संख्या
3,79,599
केलीपर से लाभान्वित की संख्या

नारायण सेवा संस्थान का वर्तमान अभियान
सुकून भरी सर्दी

नारायण सेवा संस्थान द्वारा शीत ऋतु में पीड़ितों के लिए एक नयी पहल "सुकून भरी सर्दी " की शुरुआत की गयी है। इस पहल के तहत संस्थान निर्धन परिवारों और बच्चो को कंबल, स्वेटर और "विटंर किट" वितरित करेगी। विटंर किट में स्वेटर, ऊनी टोपी, मोज़े और जूते शामिल होंगे ताकि बच्चे कड़ाके की ठंड में उपयुक्त कपड़े नहीं होने के कारण स्कूल जाना न छोड़ें।

हर साल नारायण सेवा संस्थान इस भीषण सर्दी के दौरान जरूरतमंदों की मदद के लिए एक अभियान शुरू करती है और अब तक हजारों ज़रूरतमंदो को सर्दियों के दौरान गर्म कपडे और कंबल वितरित कर राहत पंहुचा चुकी है। आपके सहयोग से संस्थान इस वर्ष भी निर्धन परिवारों की मदद करने की परंपरा जारी रखेगी। आप सभी से विनती है इस महादान में हिस्सा ले और असहाय लोगो को बड़े पैमाने पर सर्दी से राहत पहुँचाये।